नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स (इंडिया) की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक अध्यक्ष श्री प्रज्ञानंद चौधरी की अध्यक्षता में 30-31 जुलाई 2011 को मध्य प्रदेश की पावन नगरी उज्जैन के होटल मित्तल एवेन्यू में आयोजित की गई। दो दिवसीय इस बैठक की शानदार मेजबानी जर्नलिस्ट्स यूनियन ऑफ मध्य प्रदेश (जंप) ने की । बैठक में एनयूजे के पदाधिकारियों, कार्यकारिणी सदस्यों, विशेष आमंत्रित सदस्यों और ज्यादातर राज्य इकाइयों के अध्यक्ष-महासचिव सहित 150 प्रतिनिधियों ने हिस्सा लिया।
उद्घाटन सत्र की शुरुआत में दिल्ली जर्नलिस्ट्स एसोसिएशन के कोशाध्यक्ष और हिंदुस्तान के वरिष्ठ सहायक संपादक श्री प्रदीप संगम और अन्य पत्रक ारों के निधन पर दो मिनट का मौन रखकर श्रद्धांजलि दी गई। उद्घाटन सत्र के मुख्य अतिथि और विक्रम विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर टी आर थापक ने कहा कि हिंदी पत्रकारिता के क्षेत्र में मालवांचल हमेशा से अग्रणी रहा है। इस क्षेत्र से पं.सूर्यनारायण व्यास से लेकर श्री राजेंद्र माथुर और श्री प्रभाष जोशी ने पत्रकारिता जगत में अपना लोहा मनवाया है। अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता लोकतंत्र की बुनियाद है। नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स पत्रकाारों के प्रशिक्षण एवं उनके उत्थान के लिए निरंतर प्रयासरत है। पत्रकारिता जगत में पत्रकारों की भी समस्याओं के निराकरण के लिए नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स द्वारा किए जा रहे प्रयास प्रशंसनीय हैं।
श्री थापक ने कहा है कि शिक्षा के ब़ढ़ते प्रसार-प्रसार के साथ ही मीडिया की पहुंच लगातार ब़ढ़ रही है। उन्होंने क हा कि देश मीडिया का महत्वपूर्ण योगदान रहा है। मौजूदा दौर में मीडिया की जिम्मेदारी और चुनौतियां ज्यादा ब़ढ़ गई है। उन्होंने कहा कि कि मीडिया को अपनी जिम्मेदारी निभाने के लिए अपनी विश्वसनीयता को बनाए रखना होगी। इस विश्वसनीयता को बनाए रखने के लिए नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स (इंडिया ) की महत्वपूर्ण भूमिका है।
एनयूजे के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री प्रज्ञानंद चौधरी ने कहा कि मीडिया की ब़ढ़ती ताकत के साथ ही हमारी जिम्मेदारी ब़ढ़ रही है। मीडिया की साख बनाए रखने में एनयूजे के नेताओं और सदस्यों ने बहुत ब़ड़ी भूमिका निभाई है। उन्होंने कहा कि एनयूजे पत्रकारों के हक ल़ड़ाई लड़ने के साथ ही स्वस्थ पत्रकारिता की पक्षधर है।
एनयूजे के राष्ट्रीय महासचिव रासविहारी ने कहा कि उनका संगठन देश में पत्रकाारों पर ब़ढ़ते हमलों को लेकर चिंतित है। एनयूजे ने मुंबई और छत्तीसग़ढ़ में पत्रकारों की हत्या के विरोध में देशव्यापी आंदोलन चलाया। इस बैठक में पत्रकारों की सुरक्षा के लिए कानून बनाने की मांग को लेकर विस्तृत चर्चा की जाएगी। राष्ट्रपति को एक ज्ञापन देकर कानून बनाने की मांग की जा चुकी है। उन्होंने कहा कि एनयूजे की लोकतांत्रिक परंपरा के देश के अन्य संगठनों के मुकाबले हमारी साख ज्यादा है। एनयूजे में हर दो साल बाद नियमित रूप से चुनाव होते हैं। अपने लोकतांत्रित स्वरूप के कारण एनयूजे में सामूहिक नेतृत्व की परंपरा कायम हैं। हम-सब चुनौतियों का मुकाबला करने के लिए मिलजुल कर फैसला करते हैं।
जर्नलिस्ट्स यूनियन ऑफ मध्य प्रदेश (जंप) के अध्यक्ष श्री सुरेश शर्मा ने सभी अतिथियों का स्वागत किया। उन्होंने क हा कि जंप ने राज्य में पत्रक ारों को एक जुट करने में ब़ड़ी भूमिका निभाई है। नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स ने पत्रकारों की भलाई के लिए क ई काम किए हैं। वर्तमान में समाचार-पत्र अधिक संख्या निकल रहे हैं। पत्रकारिता में डिग्री होल्डर पत्रकार ब़ढ़े हैं किं तु अनुभव की कमी के कारण पत्रकारों क ो क ई प्रकार की समस्याएं आ रही हैं। नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स में बड़ी संख्या में अनुभवी पत्रकारों से भरी हुई है। उनके अनुभवों का लाभ नए पत्रकारों को मिल रहा है। एनयूजे के उपाध्यक्ष श्री रामभुवन सिंह कुशवाह ने सभी अतिथियों का आभार जताया।
इससे पहले श्री थापक, नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स के अध्यक्ष श्री प्रज्ञानंद चौ़धरी, महासचिव श्री रासविहारी, उपाध्यक्ष श्री रामभुवन सिंह कुशवाह तथा प्रादेशिक अध्यक्ष श्री सुरेश शर्मा ने मां सरस्वती के चित्र के सम्मुख दीप प्रज्जवलित क र होटल कार्यकारिणी की बैठक का शुभारंभ किया। इस अवसर पर जर्नलिस्ट्स यूनियन ऑफ मध्य प्रदेश के महासचिव श्री ओमप्रक ाश फ रकि या समेत एनयूजे के वरिष्ठ नेता डॉ॰एन के त्रिखा, श्री राजेंद्र प्रभु, श्री एम डी गंगवार, एनयूजे कोशाध्यक्ष मनोहर सिहं, उपाध्यक्ष श्री प्रसन्न मोहंती, जितेंद्र अवस्थी, एनयूजे सचिव संजय राठी, युगांधर रेड्डी, राजेश तोषनीवाल, ब्रह्मदत्त शर्मा और ब़ड़ी संख्या में पत्रकाार मौजूद थे। उदघाटन समारोह में एनयूजे की तरफ से भारतीय प्रेस परिषद में मनोनीत किए गए श्री उप्पला लक्षमण का सम्मान किया गया।
जंप की स्मारिका `उ़ड़ान´ का विमोचन
राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक के उद्घाटन सत्र में जर्नलिस्ट्स यूनियन ऑफ मध्य प्रदेश द्वारा प्रकाशित की गई स्मारिका `उ़ड़ान´ का विमोचन विक्रम विश्वविद्यालय के कुलपति श्री टी.आर.थापक और राष्ट्रीय पदाधिकारियों ने किया। स्मारिका का संपादन डॉ॰नवीन जोशी, श्री अतुल पुरोहित, श्री पवन देवलिया, श्री महेंद्र दुबे तथा श्री चंपालाल गुर्ज़र ने कि या है।
बैठक के पहले बिजेनस सत्र में विजयवाडा में संपन्न हुई राष्ट्रीय कार्यक ारिणी क ी बैठक की काार्यवाही विवरण एनयूजे महासचिव श्री रासविहारी ने सदन के समक्ष रखा, जिसे बैठक में उपस्थित सभी सदस्यों द्वारा पारित किया। साथ ही महासचिव की रिपोर्ट सदन में रखी गई।
पहले सत्र में ही राज्य इकाइयों की गतिविधियों की रिपोर्ट पेश की गई।
जर्नलिस्ट्स एसोसिएशन ऑफ आंध्र प्रदेश (जाप) के महासचिव मोहन यादव ने बताया कि संगठन के सदस्यों की संख्या 5000 तक करने का लक्षय रखा गया है। इसके लिए सभी जिलों में सदस्यता अभियान चलाया जा रहा है।
जर्नलिस्ट्स एसोसिएशन ऑफ राजस्थान (जार) के अध्यक्ष श्री ललित शर्मा ने रिपोर्ट पेश की। उन्होंने बताया कि जार की सदस्य संख्या लगातार बढ़ रही है। राज्य सरकार की तरफ से पत्रकारों को रोडवेज बसों में सुविधा दी गई है। साथ ही राज्य सरकार पत्रकारों के लिए हाउसिंग बोर्ड में आरक्षण भी प्रदान कर रही है। मुख्यमंत्री कल्याण कोश से बीमार और दुर्घटना में घायल होने वाले पत्रकारों आथिक सहायता भी जाती है।
एनयूजे (आई) उत्तराखंड के महासचिव श्री रविंद्रनाथ कौशिक ने बताया कि संगठन की सदस्य संख्या 500 हो गई है तथा अनेक जनपदों मे पत्रकारों के कल्याण के लिए लगातार कार्य किए जा रहे हैं। 25 जून को एनयूजे (आई) के देशव्यापी आंदोलन के तहत जिला एवं राज्य मुख़्यालयों पर प्रदर्शन किए गए। पत्रकारों की सुरक्षा के लिए राज्यपाल को ज्ञापन भी दिया गया।
ओडिसा यूनियन आफ जर्नलिस्ट्स (ओयूजे) के महासचिव श्री कैलाश चंद नायक ने बताया कि संगठन की सदस्य संख्या 1700 तक पहुंच गई है। उन्होंने बताया कि ओडिसा में पत्रकारों की सुवि़धा के लिए संगठन के कार्यालय को बहुत अच्छा बनाया जा रहा है। ओयूजे पत्रक रो पर हमलों के विरोध में पूरे राज्य में प्रदर्शन किए। संगठन की गतिविधियों को लगातार बढ़ाया जा रहा है।
वेस्ट बंगाल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स (डबल्यूबीयूजे) के अध्यक्ष श्री असीम कुमार मित्रा ने बताया की संगठन की सदस्य संख्या 800 तक पहुंच गई है। उनकी इकाई पत्रकारों की सुरक्षा के लिए हर संभव प्रयास क रती है। एनयूजे आई के सभी कार्यो में उनकी भागीदारी रहती है।
दिल्ली जर्नलिस्ट्स एसोसिएशन (डीजेए) की रिपोर्ट में डीजेए के महासचिव श्री अनिल पांडे ने पेश कीी। उन्होंने बताया कि संगठन की सदस्य संख्या 2000 तक पहुंच गई है। एनयूजे के आह्वान पत्रकारों पर हो रहे हमलों के विरोध में और पत्रकारों की सुरक्षा के लिए कानून बनाने की मांग को लेकर दिल्ली में 25 जून क ो जंतर-मंतर पर प्रदर्शन किया गया। जिसमें सैंकडों पत्रकारों हिस्सा लिया। सुरक्षा क ानून बनाने के लिए राष्ट्रपति को ज्ञापन भी दिया गया। उन्होंने बताया कि पत्रकारों को मेडिकल आपदा प्रबंधन की जानकारी देने के लिए डीजेए और मौलाना आजाद मेडिकल ने मिलकर बेसिक लाइफ स्पोर्ट कार्यशाला का आयोजन किया। कार्यशाला में आपात स्थिति में जीवन सुरक्षा के गुर सिखाए गए। डीजेए ने पत्रकारों को सुविधा प्रदान क रने के लिए डीजेए कीी ओर से नई स्कीम लागू करने कि योजना तैयार की जा रही है।
हरियाणा यूनियन आफ जर्नलिस्ट्स (एचयूजे) के अध्यक्ष श्री संजय राठी ने अपनी रिपोर्ट में बताया कि संगठन की सदस्यों की संख्या 1200 से ज्यादा है। एचयूजे पत्रकारों की सुरक्षा के र संभव प्रयास करती है। सदस्यों का बीमा भी कराया जा रहा है।
गुजरात यूनियन आफ जर्नलिस्ट्स (जीयूजे) के उपाध्यक्ष श्री हेमंत भट्ट ने बताया कि ने कि पत्रक ारों के हमलों के विरोध में संगठन की तरफ से प्रदर्शन किए गए। संगठन का विस्तार करने के लिए कदम उठाए जा रहे हैं।
चंडीगढ जर्नलिस्ट्स एसोसिएशन (सीजेए) के अध्यक्ष श्री अशोक मलिक ने अपनी report में बताया कि एनयूजेआई के सभी क ार्योे में संगठन की भागीदारी रहती है। पत्रक ारों की सुरक्षा और सुविधाओं की मांग को लेकर आंदोलन किए गए हैं। संगठन की सदस्य संख्या में लगातार बढ़ रही है।
उत्तर प्रदेश जर्नलिस्ट्स एसोसिएशन (उपजा) की report अध्यक्ष रतन दीक्षित ने पेश की। उपजा क ी सदस्य संख्या लगातार ब़ढ़ रही है। उन्होंने बताया कि पत्रक ारों पर हमलों के खिलाफ उत्तर प्रदेश में कई जिलों में प्रदर्शन किए गए। पत्रकारों की विभिन्न समस्याओं को लेकर संगठन कार्य कर रहा है। सदस्यों की संख्या भी लगातार बढ़ रही है।
एनयूजे (आई)बिहार के सचिव गगन पांडे ने अपनी रिपोर्ट पेश की। उन्होंने बताया कि सदस्यो की संख्या बढ़ाने के लिए राज्य कोो चार हिस्सों में बांट कर योजना बनाई गई है। कई जिलों में कार्यक्रमों का आयोजन किया गया।
जर्नलिस्ट्स यूनियन ऑफ झारखंड (जेयूजे) के महासचिव शिवकुमार अग्रवाल ने रिपोर्ट पेश की। उन्होंने बताया कि संगठन की सदस्य एक हज़ार से हो गई है। संगठन की तरफ से विभिन्न मांगों को लेकर प्रदर्शन किए गए। पत्रकार सुरक्षा कानून बनाने की मांग को लेकर राज्य में प्रदर्शन किए गए। पत्रकारों के कल्याण के लिए कई कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं। 1 मई को मजदूर दिवस पर रांची में प्रदर्शन करके ज्ञापन दिया गया। राज्य के कई हिस्सों में नक्सली गतिविधियों के बावजूद जिलों में संगठन का विस्तार हो रहा है।
हिमाचल प्रदेश यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स के सचिव ने रिपोर्ट पेश की। पंजाब यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स के चुनाव कराने की जिम्मदारी एनयूजे उपाध्यक्ष श्री जितेंद्र अवस्थी के साथ श्री हरेश वशिष्ठ और अवतार सिंह को सौंपी गई। जम्मू-कश्मीर इकाई की जिम्मेदारी अवतार सिंह को दी गई।
बैठक के द्वितीय सत्र की शुरुआत में सीजेए के अध्यक्ष अशोक मलिक और हरेश वशिष्ठ ने दी ट्रिब्यून समाचारपत्र समूह में कर्मचारियों के निकालने के खिलाफ चलाए गए आंदोलन में
एनयूजे के सहयोग की सराहना की। बैठक में एनयूजे आई स्कूल ऑफ जर्नलिज्म एंड मॉस कम्युनिकेशन को सक्रिय करने को लेकर विस्तार से चर्चा की गई। स्कूल के चैयरमेन श्री विजय क्रांति को स्कूल के अन्य पदाधिकारियों और गवर्निंग काउंसिल बनाने के लिए अधिकृत किया गया है। बैठक में वरिष्ठ सदस्यों ने स्कूल की गतिविधियों के लिए कई सुझाव दिए।
बैठक में कुछ सदस्यों ने एनयूजे की बेवसाइट न होने पर चिंता जताई। महासचिव ने जल्दी ही एनयूजे की वेबसाइट बनवाने का आश्वासन दिया। उन्होंने कहा कि वेबसाइट बनाना तो आसान है पर सभी सामग्री जुटा कर बेवसाइट में डालना आसान नहीं है। हम वेवसाइट के लिए सभी पुराने लेख और जानकारी जुटा रहे हैं। इन सभी को बेवसाइट पर डाला जाएगा।
बैठक के तीसरे सत्र में एनयूजेआई के पूर्व अध्यक्ष श्री राजेंद्र प्रभु ने वेजबोर्ड की सिफारिशों के बाद आने वाली समस्याओं को लेकर विस्तृत प्रेजेन्टेशन दिया। श्री विजय क्रांति ने पत्रकारों की सुरक्षा के लिए कानून बनाने की मांग को लेकर प्रस्ताव पेश किया। इन सभी प्रस्तावों को सर्वसम्मति से पारित किया गया। राष्ट्रीय परिषद की अधिवेशन रांची में आयोजित करने के झारखंड यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स महासचिव श्री शिवकुमार ने निमंत्रण कार्यकारिणी की बैठक में दिया। उनके निमंत्रण को सहर्ष स्वीकार किया गया।
बैठक के समापन सत्र में मध्य प्रदेश के जनसंपर्क एवं संस्कृति मंत्री श्री लक्षमीकाांत शर्मा ने कहा कि नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स को पत्रकारों के क ल्याण तथा उनके प्रशिक्षण के लिए अपनी इकाई का विस्तार तहसील स्तर पर करना चाहिए। उन्होंने कहा कि वर्तमान में प्रदेश सरकार व प्रेस के संबंध म़धुर हैं। हमारा समन्वय अच्छा है किं तु हम यह चाहते है कि प्रेस अपने धर्म का पालन क रें, जहां क हीं गलती नज़र आए उसकीी ओर शासन का ध्यान आकर्षितत करें। इसके पूर्व जनसंपर्क मंत्री श्री लक्षमीकांत शर्मा, राज्य योजना आयोग के उपाध्यक्ष श्री बाबूलाल जैन, विधायक श्री शिवनारायण जागीरदार, नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स के राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री प्रज्ञानंद चौधरी, राष्ट्रीय महासचिव श्री रासविहारी, प्रदेश अध्यक्ष श्री सुरेश शर्मा, जिला अध्यक्ष श्री सुदर्शन सोनी एवं अतिथियों ने मां सरस्वती के चित्र के सम्मुख दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारंभ किया। नेशनल यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स के अध्यक्ष श्री प्रज्ञानंद चौ़धरी ने क हा कि वर्तमान समय में समाचारपत्रों संस्थान व्यावसायिक हो गए है। प्रबंधन का उद्देश्य मुनाफा कमाना ही रह गया है। यूनियन के माध्यम से पत्रकारों का सशक्तिकरण करने का प्रयास किया जा रहा है । प्रदेश अध्यक्ष श्री सुरेश शर्मा ने जनसंपर्क मंत्री का कार्यसमिति की बैठक आयोजन में सहयोग प्रदान करने के लिए आभार प्रक ट करते हुए कहा कि इस कार्यसमिति में देश के कई राज्यों से सौ से ज्यादा वरिष्ठ पत्रकार शामिल हुए हैं। राष्ट्रीय महासचिव श्री रास विहारी ने कहा कि इस दो दिवसीय कार्यकारिणी की बैठक में एनयूजे ने मीडियाकर्मियों की समस्याओं पर विचार कर आगे की रणनीति तैयार की है।
रांची। देश भर के पत्रकार आगामी नवंबर माह में रांची में आयोजित राष्ट्रीय
सम्मेलन में भाग लेंगे। पत्रकारों का यह सम्मेलन नेशनल यूनियन ऑफ
जर्नलिस्ट्स (इंडिया) की राष्ट्रीय परिषद की बैठक के तहत होगा। यह आयोजन आगामी 25 सें 27 नवंबर तक रांची में होगा। झारखंड यूनियन ऑफ जर्नलिस्ट्स का एक
दिवसीय सम्मेलन में इसकी तैयारियों पर चर्चा हुई। रांची के दिगंबर
नई दिल्ली 25 अक्तूबर.वार्ता. नेशनल यूनियन आफ जर्नलिस्ट
.इंडिया. ने सरकार द्वारा समाचार पत्रों और समाचार एजेंसियों के
पत्रकारों और गैर पत्रकारों के लिए मजीठिया वेतन बोर्ड की सिफारिशों
को आज मंजूरी दिए जाने का स्वागत किया है।
... एन यू जे.आई. के अध्यक्ष प्रग्यानंद चौधरी और महासचिव
रासबिहारी ने यहां एक बयान में सरकार द्वारा मजीठिया आयोग की
सिफारिशों को स्वीकार करने का तो स्वागत
New Delhi: October 25: The National Union of Journalists (India) today welcomed the Government decision to accept the recommendations of the Justice Majithia Wage Boards on the emoluments of working journalists and non-journalists in the newspapers and news agencies.
In a statement, issued in New Delhi today, the NUJ (I) president Prajnananda Ch...oudhury and Secretary General Ras Bihari said they welcome
New Delhi. In a decision that will benefit
more than 40,000 newspaper employees, Union Cabinet today
approved the recommendations of the Majithia Wage Boards
providing for an increase in the salaries and allowances of
journalists and non-journalists.
The revised wages will be applicable with effect from
July 1, 2010 while the other allowances like Transport, House
Rent and Hardship shall be effective from the date of
notification of
केन्द्रीय मंत्रिमंडल ने मंगलवार को समाचार पत्रों एवं संवाद एजेंसियों के पत्रकार एवं गैर पत्रकार कर्मचारियों के वेतनमान में संशोधन संबंधी मजीठिया वेतनबोर्ड की सिफारिशों को मंजूरी दे दी। संशोधित वेतनमान एक जुलाई 2010 से लागू होगा जबकि मकान किराया भत्ता और परिवहन भत्ता सहित अन्य भत्ते अधिसूचना जारी होने के दिन से प्रभावी होंगे।
45 हजार कर्मचारी होंगे लाभांवित
प्रधानमंत्री
NEW DELHI: Press Council chairman Markandey Katju has written to Prime Minister Manmohan Singh suggesting that the electronic media should be brought under its purview and should be given "more teeth".
"I have written to the PM that the electronic media should be brought under Press Council and it should be called Media Council and we should be given more
NATIONAL UNION OF JOURNALISTS (INDIA)
PRESIDENT
SHRI PRAGYANANAD CHAUDHURI
(Special Correspondent, Anand Bazar Patrika, Kolkata.)
244/1, B.B.Chatterjee Road, Calcutta: 7000 42
Res.:033-24423408, Off: 033-2374880, 22378000
Mb: 09831159968
Email: Prajnananda.Chaudhuri@abp.in
SECRETARY GENERAL
SHRI RAS BIHARI (Metro Editor, Naidunia, Delhi.)
S-612-B, School
A law to protect journos is must
With rapid expansion of media, pressure on mediapersons too is burgeoning day-by-day. Daily astonishing exposes of corruption and wrongdoings of influential people have escalated the frequency of attacks on journalists by politicians, administrative authorities, police and mafia groups.
In fact, mediapersons have been on the target of these forces for long and they skip
New Delhi, Nov 11.Government today issued the
notification for implementation of Majithia Wage Boards‘
recommendations for increase in the salaries and allowances of
journalists and non-journalists of newspapers and news
agencies.
"The Ministry has notified Wage Boards recommendations,"
a senior Labour ministry official said.
The Union Cabinet had on October 25 approved the
recommendations which will benefit more than 40,000 employees.
The revised wages will be applicable with effect